बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध | Beti Bachao Beti Padhao Hind Essay 2022

भूमिका- दोस्तों, बेटियां उस कोमल फूल के समान होती हैं जिन्हें यदि पौधों पर रहते हुए पानी दिया जाए तो वह अपनी चरम सीमा पर पहुंच जाती हैं पर इसके विपरीत यदि उन्हें तोड़ लिया जाए तो उनका विनाश तय है। हमारे समाज में लगातार बेटियों की स्थिति पहले के मुकाबले खराब होती जा रही है जिसके पीछे बहुत से कारण है जिन्हें आज हम बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध (Beti Bachao Beti Padhao Essay 2022 ) विस्तार से चर्चा करेंगे। बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ निबंध ( Beti Bachao Beti Padhao par nibandh) आपको निबंध प्रतियोगिता में एवं परीक्षा में भी सहायक होंगे। अतः इसे अंत तक अवश्य पढ़ें।

क्या आपने इसे पढ़ा:- Beti Bachao Beti Padhao Speech in Hindi

 वैसे तो हमारी भारत सरकार हमारे भारत के भौतिक एवं आर्थिक विकास के लिए योजनाओं का उद्घाटन करती रहती है जैसे कि स्वच्छ भारत अभियान,डिजिटल भारत अभियान इत्यादि।
 
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ निबंध की योजनाओं के साथ-साथ हमारी भारत सरकार ने बेटियों के उज्जवल भविष्य के लिए व उनके उत्थान के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना की शुरुआत की है जिसके प्रत्येक पहलू पर हम आज विस्तृत चर्चा करेंगे।

बेटियों का महत्व (बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध)

दोस्तों,आपने अक्सर हमारे समाज के लोगों को कहते सुना होगा कि बच्चे भगवान का रूप होते हैं और यदि दूसरी और हम लड़कियों के प्रति उनके व्यवहार की ओर ध्यान आकर्षित करें तो हम पाएंगे कि उनका यह वाक्यांश उनके व्यवहार से बिल्कुल मेल नहीं खाता।
तो दोस्तों, जैसे एक बैलगाड़ी के दोनों पहियों का सामान महत्त्व होता है, ठीक उसी प्रकार समाज के लिए लड़कों और लड़कियों दोनों का महत्व समान होता है. लड़कों एवं लड़कियों में भेदभाव करना कदापि उचित नहीं है।
आज बेटियां हर क्षेत्र में परिपक्वता के साथ कार्य कर रही है फिर चाहे वह जहाज उड़ाना हो या फिर बस चलाना, भारतीय सेना हो या फिर चांद पर जाना। हर क्षेत्र में लड़कियां लड़कों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर देश का नाम रोशन कर रही है।
Beti Bachao Beti Padhao essay in hindi
Beti Bachao Beti Padhao essay in hindi

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना क्या है?

देश में गिरते लिंगानुपात को सुधारने एवं बेटियों के लिए समाज में जागरूकता बढ़ाने के लिए किस योजना की शुरुआत की गई जिसके तहत 10 वर्ष से कम उम्र की बेटियों का मुफ्त अकाउंट खोला जाएगा जिस पर भारत सरकार बेटियों को अधिक फ़ीसदी के दर से ब्याज प्रदान किया जाएगा जिससे कि बेटियां अपने भविष्य को और बेहतर बना सकें।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना को कब शुरू किया गया?

देश में बेटियों की स्थिति मैं सुधार करने व बेटियों के भविष्य को सही मार्गदर्शन व विकास प्रदान हेतु हमारे माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 22 जनवरी, 2015 को बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना की शुरुआत की।
  बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध योजना का आरंभ हरियाणा के पानीपत से हुआ। हरियाणा में लड़कियों का लिंगानुपात 1000 मे से 775 का है। आप इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि आज समाज में लड़कियों की स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है।
लड़कियों की दशा को सुधारने के लिए इस अभियान को एक साथ 100 जिलों में प्रभावी तरीके से लागू किया गया। हरियाणा में लड़कियों की स्थिति सबसे खराब होने के कारण यहां के 12 जिलों में किस योजना का आरंभ किया गया।
इन जिलों का नाम इस प्रकार है-
अंबाला, कुरुक्षेत्र, रिवारी, भिवानी, महेन्द्रगण, सोनीपत, झज्जर, रोहतक, करनाल, यमुना नगर, पानीपत और कैथाल।
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बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के लिए आवेदन कैसे करें?

सबसे पहले बेटी के नाम पर एक बैंक खाता खुलवाना होगा जो की बेटीयों को आगे बढ़ाने के लिए ये पहला कदम होगा।
प्रधानमंत्री द्वारा शुरू की गई यह योजना पूरी तरह से कर मुक्त है। आपका खाता खुलने के बाद उसमें से किसी भी राशि की कटौती नहीं की जाएगी।
Note:  इस खाते को खुलवाने के लिए एक आयु सीमा निर्धारित है यानि यह खाता केवल 1- 10 वर्ष तक की लड़कियों का ही खुल सकता है।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के लिए आवश्यक दस्तावेज-

खाता खोलने के लिए निम्नलिखित दस्तावेजों की आवश्यकता होगी, जो इस प्रकार है:-

1-बच्ची का जन्म प्रमाण पत्र।

2– माता-पिता या कानूनी अभिभावक के पहचान का सबूत।

3-माता-पिता या कानूनी अभिभावक के पते का प्रमाण।

Note- यह योजना अनिवासी भारतीयों के लिए नहीं है। यानि जो भारतीय भारत में रहता होगा वही इसका आवेदन कर सकता है।

बेटियों को क्या लाभ प्राप्त होगा-

आप अपनी बच्ची के लिए एक खाता खोल पाएंगे जो की आपकी वित्तीय बोझ को कम करेगा। सरकार इस योजना के अंतर्गत सभी बचतकर्ताओं को अधिक फीसदी दर से ब्याज प्रदान करती है। इसके सहायता से आप अपनी बेटी के भविष्य के लिए और अधिक पैसा बचा सकते हैं।
इस खाते को अधिनियम 80C के तहत छूट प्राप्त है। लड़की का खाता कर-मुक्त होगा। इसका मतलब यह है कि खाते से कोई भी रकम कर के रूप में नही काटी जाएगी।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना में शामिल प्रमुख मंत्रालय-

“बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ” योजना में भारत सरकार के तीन प्रमुख मंत्रालय शामिल है जो कि इस योजना का बेहतरीन तरीके से संचालन कर रहे हैं-

1-महिला और बाल विकास मंत्रालय।
2-स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय।
3-मानव संसाधन विकास मंत्रालय।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना की आवश्यकता क्यों पड़ी?

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ कि योजना की शुरुआत करने के पीछे सामाजिक कई कारण दिखाई पड़ते हैं जो कि इस प्रकार हैं-

1- देश में लगातार लड़कियों की संख्या में गिरावट होना सीधे उस ओर इशारा करता है कि लोगों की मानसिकता लड़कियों के प्रति ठीक नहीं है।

2- हमारा समाज शुरुआत से ही पुरुष-प्रधान रहा है। लोगों के विचार ही इस प्रकार है कि वे हमेशा ही लड़कों को लड़कियों से श्रेष्ठ मानते हैं। इनके विचार के कारण यह लड़कियों को हीन भावना से देखने लगते हैं।


3- आपने वह कहावत भी जरूर सुनी  होगी-

“मर्द को दर्द नहीं होता”

अर्थात इस पुरुष प्रधान समाज का भी यही कहना है कि स्त्रियां कमजोर होती हैं और मर्द मजबूत होते हैं। लोगों की यह धारणा बिल्कुल गलत है।

4- लगातार छोटी वह बड़ी बच्चियों का अपहरण रेप एवं शोषण के मामलों में बढ़ोतरी होना।

5- प्रेग्नेंसी के समय अल्ट्रासाउंड के द्वारा लिंग परीक्षण करवाकर बच्चे के लिंग का पता करना। नवजात बच्ची के होने पर उसे गर्भ में ही मरवा देना। यह सब कृत्य अत्यंत ही मानवता को शर्मसार कर देने वाला है।
6- लड़कियों को बोझ के रूप में समझना। लड़कियों को लड़कों के मुकाबले उचित शिक्षा प्रदान ना करना यह दिखाता है की लड़कियों के अधिकारों की रक्षा के लिए भारत सरकार को कड़े कदम उठाने ही पड़ेंगे।

7- लड़कियों के जन्म होने पर उनका परित्याग करना या हत्या कर देना। घर में लगातार किसी ना किसी कारणों से उनका शोषण करना।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ उद्देश्य:-

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के मुख्य उद्देश्य है-
1- बेटियों के महत्व के बारे में लोगों में जागरूकता फैलाना एवं प्रचार प्रसार करना।
2- लड़कों पर लड़कियों को समान भाग से देखने के लिए प्रेरित करना। लड़कियों के प्रति लोगों के विचार में शुद्धता लाना।
3- देश के कई क्षेत्रों में लिंगानुपात में सुधार लाना। बिगड़ते लिंगानुपात को नियंत्रण में लाना एवं संविधान के मूल अधिकार “समानता का अधिकार” पर जोर देना।
4- लड़कियों के प्रति बढ़ते अपराधों को कम करके उनके लिए इस सुरक्षित एवं खुशहाल माहौल प्रदान करना।
5- वैश्विक संगठन UNICEF के अनुसार “भारत में 5 करोड़ लड़कियों की कमी है” तो इस कमी को दूर करके लड़कों और लड़कियों के लिंग अनुपात में समानता लाकर देश को विकसित देशों की सूची में लाना हमारे बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध की योजना का मुख्य उद्देश्य है।
6-बेटियों के भविष्य में किसी तरह की कठिनाई का सामना ना करना पड़े इसके लिए भारत सरकार ने बेटियों का अकाउंट खुलवा कर उसमें अधिक दर से ब्याज प्रदान करने का निर्णय लिया है यह बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के अंतर्गत से आता है।
7- राष्ट्र के विकास में लड़कियों और लड़कों दोनों का समान रूप से भागीदारी हो इसके लिए भारत सरकार ने इस योजना का उद्घाटन किया है।
8-कम उम्र में लड़कियों के विवाह पर रोक लगाकर उनकी शिक्षा पर बल देना क्योंकि पढ़ेंगी बेटियां तभी तो बढ़ेंगी बेटियां।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के प्रभाव

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के मुख्य प्रभाव है-
“बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना” के प्रभाव काफी लाभप्रद व सकारात्मक है। इस योजना के परिणामवश देश के कई क्षेत्रों में लिंगानुपात में सुधार हुआ है।
लोग अपने बेटों के साथ-साथ अपनी बेटियों को भी उचित शिक्षा प्रदान कर रहे हैं ताकि वह भी अपने अस्तित्व को निखारे और अपने माता पिता वह देश को गौरवान्वित करें।
अस्पतालों में स्पष्टता से लिखा गया है कि “लिंगपरिक्षण करवाना/करना कानून अपराध हैं।” यदि कोई भी व्यक्ति अमान्य कार्य करते पकड़ा गया तो भारी जुर्माने व कठोर परिणाम झेलने पड़ेंगे।
सरकारी अस्पताल में डिलीवरी होने पर यदि नवजात लड़की होती है तो उनके माता-पिता को रुपए 2000 की राशि प्रदान करना।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना को सफल बनाने के लिए किए गए प्रयास-

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ जागरूकता अभियान को सफल बनाने के लिए हमारे भारत सरकार के तीनों मंत्रालयो ने अपनी एड़ी चोटी का जोर लगा दिया है।
सड़कों पर, सरकारी विभागों में,अस्पतालों में टीवी पर, रेडियो पर बेटियों की रक्षा एवं शिक्षा का प्रचार-प्रसार किया जा रहा है।
हरियाणा के बीबीपुर गांव के सरपंच ने अपने गांव में एक अनोखी स्कीम निकाली। इस मुहिम को उन्होंने ‘सेल्फी विथ डॉटर'(#SelfiewithDaughter) का नाम दिया।
जिसके अंतर्गत लोग अपने बेटियों के साथ सेल्फी लेकर सोशल मीडिया पर शेयर कर सकते हैं।
इस मुहिम की हमारे माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र दामोदरदास मोदी जी ने भी खूब प्रशंसा की। धीरे-धीरे यह मुहिम तेजी से बढ़ती गई और पूरी दुनिया में चर्चित हो गई। हमारी भारत सरकार की पहल अब सफल हो रही है और खुशी के नए रंग ला रही है। लोग अब अपने बेटियों के जन्म से खुश भी होते है और हो भी क्यों ना?
“बेटियां तो साक्षात देवी का रूप होती हैं”

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ Logo:-

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना’ को सफल व सशक्त करने के लिए 1 logo का निर्धारण किया गया जिसके अंतर्गत एक छोटी बच्ची किताब लिए हुए उसे नई आशाओं के साथ निहार रही है।
इस अभियान की अध्यक्षता के लिए इस लोगों का चयन किया गया एवं इस logo ने अपनी अध्यक्षता बखूबी निभाई।
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ Logo
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ Logo

भारत की बहुचर्चित व सशक्त बेटियां-

1-शिवांगी सिंह-

वाराणसी की शिवांगी सिंह एयर जेट राफेल उड़ाने वाली पहली भारतीय महिला बन चुकी है जो कि पूरे भारत के लिए गौरव की बात है।

2-कल्पना चावला-

कल्पना चावला हमारे देश की सशक्त महिलाओं में से एक है जिन्होंने अंतरिक्ष में जाने वाली पहली भारतीय महिला की उपाधि अपने नाम की।

3-निर्मला सीतारमण-

अमेरिका के फोर्ब्स के एक नए शोध के अनुसार विश्व की 100 सबसे शक्तिशाली महिलाओं में से 34 वे पायदान पर है जोकि अपने आप में ही श्रेष्ठता की मिसाल है।

4-रोशनी नदार-

भारत की सबसे धनी महिला और रोशनी नदार जी है जो कि आईटी कंपनी एचसीएल की सीईओ का पद भी संभाल रही है।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ स्लोगन (slogan)-

  • शिक्षा है सबका अधिकार, बेटी भी है बराबर हकदार।
  • लिंग परीक्षण करवाएंगे, तो अपना ही अस्तित्व गिराएंगे।
  • बेटा पढ़े, बेटी पढ़े देश बढ़े, सर्वश्रेष्ठ बने।
  • बेटियों को बचाएंगे, और भारत को एक मजबूत राष्ट्र बनाएंगे।
  • मां लक्ष्मी का रूप है बेटी, सदैव सबके कष्ट है समेटी।
  • बेटियों पर गर्व करो, ऐ हिंसक शर्म करो।
  • बेटियां होती है नन्ही फूल, ऐ लोगों ये तुम मत जाना भूल।

बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ शायरी (Shayari)-

बेटा बेटी सब एक समान,
यही है कष्टों का समाधान।
यदि इन दोनों में किया भेद भाव,
तो जीवन में होगा खुशियों का अभाव।।
 
बेटियों का करो सम्मान,
इन्हीं में है हमारा मान।
बेटियां ही है भारत की शान,
यही बनाएंगी हमारे देश को महान।।
 
बेटियों को हम सब मिलकर बचाएंगे,
इनके मान सम्मान को इन तक पहुंचाएंगे।
देश में खुशियों के पश्चम लहराएंगे,
देश को उज्जवल भविष्य की ओर लेकर जाएंगे।।
 
मां दुर्गा का रूप हैं बेटियां,
मां बाप का गुरूर हैं बेटियां,
कोमल व शक्ति का पर्याय है बेटियां,
बेटियों को मारना है एक अभिशाप,
दरिंदों को देना पड़ेगा हर चीख का हिसाब।।
 
बेटियों में ही निहित है प्रेम,
मत खेलो इनके साथ दरिंदगी का गेम।
ये बेटियां है स्वयं महादेव की देन,
मत करो इनका सौदा, बंद करो फरेबी लेन देन।।

बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ कविता:-

ईश्वर की देन हूं मैं,
मीरा पालन पोषण करो।।
एक दिन सर ऊंचा करूंगी,
आपके नाम को रोशन करूंगी।।
थोड़ा सा प्रेम कर के तो देखो,
समाज के सामने मुझे अपना कर तो देखो।।
खुद से ज्यादा आपका खयाल रखती हूं,
फिर भी ना जाने क्यूं जीने को तरसती हूं।।
माता पिता में ही तो मेरा सब कुछ है,
ना जाने किस वजह से आप रूष्ट है।।
शिक्षा के अधिकार के लिए हर बार तरसी हूं,
इतना सब होने के बाद भी एक लफ्ज़ आपसे कुछ ना कहीं हूं।।
बेटी और बेटे को बराबर मानो,
और अपनी पुरानी सोच को अब आजादी दो।।
कितनी भी कर लो आप भगवान की पूजा,
अगर बेटी का दिल दुखाया तो तो व्यर्थ है सारी पूजा।।
नारायण स्वयं गीता में कहते स्त्री का करो सम्मान,
पर लोग है ना समझ, समझ नहीं सकते गीता का ज्ञान।।
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ निष्कर्ष:-

हमे आज इस लेख में यह जानने को मिला है की बेटियों को हमें फूल की तरह अपने हृदय में सजा के रखना चाहिए। और इनकी शिक्षा के लिए हमें भरपूर प्रयास भी करने चाहिए जिसकी सहायता से बेटियां हमारे परिवार, हमारे देश, और हमारे राष्ट्र को सुंदर बनाएंगी।
 
हमें बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर निबंध (Beti Bachao Beti Padhao Hindi Essay 2022) में पूरी जानकारी मिली है जो कि class 5,6,7,8,9,10,11,12 और SSC, UPSE, और सभी competitive एग्जाम में आपके लिए सहायक होंगी।
हम आशा करते हैं कि  आपको अच्छा लगा होगा यदि अच्छा लगा हो तो आप इसे अपने दोस्तों व रिश्तेदारों में अवश्य शेयर करें ताकि वह भी बेटियों के महत्व को समझें और हमारे देश को आगे बढ़ाने में योगदान दें।
 
 
 
 

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